नाटो शिखर सम्मेलन वाशिंगटन : एक विस्तृत विश्लेषण
नाटो शिखर सम्मेलन वाशिंगटन : एक विस्तृत विश्लेषण हाल ही में, उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) के शिखर सम्मेलन का आयोजन हुआ, जिसमें 38 देशों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इस ऐतिहासिक सम्मेलन में नाटो के सभी सहयोगियों के साथ-साथ यूक्रेन, जापान, न्यूजीलैंड और कोरिया गणराज्य जैसे साझेदार देशों के प्रतिनिधि भी शामिल थे। आइए, इस ब्लॉग में नाटो के बारे में विस्तार से जानते हैं। नाटो का परिचय - उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) की स्थापना अप्रैल 1949 में संयुक्त राज्य अमेरिका, कनाडा और कई पश्चिमी यूरोपीय देशों द्वारा की गई थी। इसका मुख्य उद्देश्य सोवियत संघ के खिलाफ सामूहिक सुरक्षा प्रदान करना था। वर्तमान में, नाटो के 32 सदस्य देश हैं, जिनमें बेल्जियम, कनाडा, डेनमार्क, फ्रांस, आइसलैंड, इटली, लक्जमबर्ग, नीदरलैंड, नॉर्वे, पुर्तगाल, यूनाइटेड किंगडम और संयुक्त राज्य अमेरिका इसके मूल सदस्य हैं। बाद में, ग्रीस, तुर्की, पश्चिम जर्मनी, स्पेन, चेक गणराज्य, हंगरी, पोलैंड, बुल्गारिया, एस्टोनिया, लाटविया, लिथुआनिया, रोमानिया, स्लोवाकिया, स्लोवेनिया, अल्बानिया, क्रोएशिया, उत्तर मेसेडोनिया, फिनलै...